समस्याओ के घेरे मे उलझे व्यक्ति को डिप्रेशन से बचाने के लिये हाथ बढाए : सुनीता मीना


💥विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस पर एडिशनल डीसीपी सुनीता मीना ने जारी किया संदेश


💥सुनीता मीना की आमजन से अपील अवसाद के शिकार व्यक्ति पर कटाक्ष कसने की बजाय उसकी समस्या सुनने की करे कोशिश


बिंदास बोल @ जयपुर: आत्महत्या के बढ़ते मामलों को रोकने के लिए वर्ष 2003 से हर साल 10 सितम्बर को "विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस" मनाया जाता है। इस दिवस को मनाने का उद्देश्य दुनिया भर में तेजी से बढ़ रहे आत्महत्या के मामलों की रोकथाम करना है। 


https://youtu.be/DpZKUJv-21E



विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस के अवसर पर अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त सुनीता मीना ने आमजन को संदेश देते हुए कहा कि ❤❤


यह जिंदगी ना मिलेगी दोबारा..


जी लो आज ही जी भर के..


जिंदगी बहुत खूबसूरत है, भविष्य उससे भी ज्यादा खूबसूरत है


जिंदगी को खत्म करने का मतलब है अपनों की जिंदगी को खत्म करना..


एक व्यक्ति आत्महत्या नहीं करता, बल्कि वह अपने परिवार के हर व्यक्ति की अनजाने में हत्या कर जाता है..


एक छोटे से दर्द से निजात पाने के लिए आप परिवार को जिंदगी भर का दर्द दे जाते हैं..


इसलिए खुद जियो व औरों को भी जीने दो..


यही है जिंदगी का रास्ता, तुम्हें अमन की शांति का वास्ता।।❤❤


सुनीता मीना ने आमजन से अपील की कि अगर आपके आस पास कोई ऐसा व्यक्ति है जो कि डिप्रेशन में है या परेशान है या समस्याओ के घेरे मे उलझ गया है तो आप उसकी समस्या जरुर सुने, उसकी मदद व सहयोग करें। उसे मेडिकल हेल्प या काउंसलिंग की जरुरत है तो वह भी दे। साथ ही उसको सामाजिक सपोर्ट देना बहुत जरूरी है, तभी हम किसी की जिंदगी को बचा पाएंगे। किसी भी मामले में अगर ऐसा लगता है कि पुलिस आपकी मदद कर सकती है, तो जयपुर पुलिस आप के लिए तैयार है, आप कभी भी हमें फोन कर सकते हैं और हम से मदद ले सकते हैं जयपुर पुलिस के लिए हर व्यक्ति की जिंदगी बहुत अहम है। आत्महत्या का प्रयास करना कभी भी किसी समस्या का समधान नही हो सकता । हर समस्या का निपटारा किया जा सकता है, समस्या का समाधान में देर हो सकती है लेकिन समाधान अवश्य निकलेगा, इसलिए समस्या से डरकर जिंदगी को खत्म करने की ना सोचे। समस्या का सामना करें। अगर समाज, परिवार या दोस्त आपकी परेशानी को नही समझ पा रहे है तो भी आप स्वयं को अकेला ना समझे, जयपुर पुलिस हर कदम पर आपके साथ हैं। आपकी हर समस्या के लिये जयपुर पुलिस की हैल्पलाइन नम्बर पर कॉल करे। 


💥कोरोना काल मे अवसाद मे आने से बचे


एडीशनल डीसीपी सुनीता मीना ने बताया कि कोरोना काल में अवसाद या डिप्रेशन के मामले तेजी से बढ़े हैं। डिप्रेशन के कारण आत्महत्या के मामलों में भी तेजी से इजाफा हुआ है। बीते कुछ सालों में भारत ही नहीं दुनिया भर में आत्महत्या के मामले तेजी से बढ़े हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, हर 40 सेकेंड में एक व्यक्ति आत्महत्या करता है। एक साल में करीब 8 लाख लोग आत्महत्या कर लेते हैं। जबकि सुसाइड की कोशिश करने वालों का आंकड़ा इससे भी ज्यादा है। ऐसे मे हर व्यक्ति की जिम्मेदारी बनती है कि वो अपने परिवार के सद्स्य व दोस्तो की समस्या जरुर सुने, उन्हे अवसाद मे जाने से बचाए। ना की उन पर कटाक्ष कसे। उनकी समस्या का समाधान करने की कोशिश करे, ना कि उनकी समस्या का तमाशा बनाए।अगर जरुरत पड़े तो चिकित्सक या पुलिस की मदद ले। सभी से अपील है अपनो की जिंदगी बचाने के लिये हाथ आगे बढाए, अपनो के चेहरे पर मुकुराहट लाए।


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