💥10 सितंबर को होगा मूक जानवर की सुरक्षा के लिये जागरूकता पोस्टर का विमोचन
💥भ्रष्टाचार के विरुद्ध लड़ने वाले पत्रकार, समाजसेवियों और भामाशाह को सम्मानित करेगा स्व.पत्रकार अविनाश गौड चैरिटेबल ट्रस्ट
बिंंदास बोल@ जयपुर : शहीद पत्रकार स्व अविनाश गौड़ की पुण्यतिथि के उपलक्ष्य मे एक सितम्बर को वार्ड 85 थड़ी मार्केट, वार्ड 69 मानसरोवर सहित एक दर्जन से ज्यादा स्थानों पर पौधरोपण कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। श्रीगंगानगर में भ्रष्टों, शरारती तत्वों, बलात्कारियों और महिलाओं से छेड़छाड़ करने वाले सुसंगठित अपराध के खिलाफ लगातार कलम चला कर समाज में जागरूकता लाने वाले युवा पत्रकार अविनाश गौड़ की संदेहास्पद और रहस्यमयी मौत हो गई थी। स्व अविनाश गौड चैरिटेबल ट्रस्ट की ओर से उनकी याद में हर साल पौधरोपण, पूरे वर्ष पर मुक पशुओं की सेवा, स्ट्रीट डॉग्स को दूध बिस्कुट रोटी खिलाने, गौ माता की सेवा करने सहित लॉकडाउन के दौरान जरूरत मंदों के बीच सर्व सहयोग से राशन वितरण भी किया गया। इस साल भी उनकी पावन स्मृति में सघन पौधरोपण अभियान शुरू किया जाएगा। इसके साथ औषधीय पौधों का वितरण किया जाएगा। बुधवार 1 सितंबर को पौधरोपण कार्यक्रम की शुरुआत उनकी माताजी नीलम गौड़, पार्षद हरि ओम स्वर्णकार, वरिष्ठ पत्रकार मिथिलेश जैमिनी, समाजसेवी लोकेश शर्मा, विजय बहादुर गौड़ सहित विभिन्न लोगों की ओर से किया जाएगा। वही मुक पशुओं पर अत्याचार रोकने और पशुओं को लेकर बने कानून को लोगों की जानकारी देने के लिए जागरूक पोस्टर का विमोचन कर उनको जगह जगह लगाया जाएगा। इस संबंध में उनके भ्राता प्रशांत गौड़ ने बताया कि समाज हित में काम करने वाले, आवारा पशुओं की मदद करने वाले, अन्याय के खिलाफ लड़ने वाले पत्रकार और भामाशाह का सम्मान भी संस्थान दर्शाता जल्द किया जाएगा। पत्रकार प्रशांत गौड़ ने बताया कि उक्त मामले में तत्काल में अशोक गहलोत सरकार से उनकी माता कांग्रेस के वरिष्ठ नेता नीलम गौड़ ने जांच की मांग की थी जिसके बाद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दो स्तरीय जांच गठित की थी लेकिन आज तक जांच की कोई रिपोर्ट बन नहीं पाई और उनकी मौत के कारण बने लोग अभी खुली हवा में है। अविनाश गौड़ जीवन पर्यंत गरीबों की सेवा करते रहे। पशुओं की सेवा करते रहे। लोगों की नौकरी लगाने में उनका बड़ा योगदान रहता था और पत्रकार क्षेत्र में आने के बाद भ्रष्टों के विरुद्ध लगातार अपनी कलम चलाई और अन्याय के आगे नहीं झुकने के कारण उनको अपनी जान देकर इसकी कीमत चुकानी पड़ी। हम उनकी पुण्यतिथि पर उनको नमन करते हैं ।
Comments